प्रेतराज सरकार आरती |  Pretraj Sarkar Aarti

प्रेतराज सरकार का मंदिर मेहंदीपुर राजस्थान में स्थित है, प्रेतराज सरकार को भूतों के देवता(राजा) के रूप में पूजा जाता है। प्रेतराज सरकार बालाजी के सहायक देव हैं और बालाजी की पूजा के साथ प्रेतराज सरकार की पूजा भी अनिवार्य है।

जय प्रेतराज कृपाल मेरी, अरज अब सुन लीजिये |
मैं शरण तुम्हारी आ गया हूँ , नाथ दर्शन दीजिये ||

मैं करूँ विनती आपसे अब तुम दयामय चित्त धरो |
चरणों का ले लिया आसरा, प्रभु वेग से दुःख मेरा हरो ||

सिर पर मुकुट कर में धनुष, गल बीच मोतियन माल है |
जो करें दर्शन प्रेम से, सब कटत भाव के जाल है ||

जब पहन दस्तर खडग बाई बगल में ढाल है |
ऐसा भयंकर रूप जिसको देख डरपत काल है ||

अति प्रबल सेना विकत योद्धा, संग में विकराल है|
सब भूत प्रेत पिशाच बाँधे, कैद करते हाल है ||

तव रूप धरते वीर का, करते तैयारी चलन की |
संग में लडाके जवान, जिनकी थाह नहीं बलन की ||

तुम सब तरह सामर्थ्य हो, सकल सुख के धाम हो |
दुष्टों के मारनहार हो, भक्तों के पूरण काम हो ||

मैं हूँ मति का मंद मेरी, बुद्धि को निर्मल करो |
अज्ञान का अँधेरा उर में ज्ञान का दीपक धरो ||

सब मनोरथ सिद्ध करते, जो कोई सेवा करे |
तंदुल, बूरा , घ्रत, मेवा, भेंट ले आगे धरे ||

सुयश सुनके आपका, दुखिया तो आये दूर से |
सब स्त्री अरु पुरुष आकर पड़े हैं चरण हुजूर के ||

लीला है अदभुत आपकी महिमा तो अपरंपार है |
मैं ध्यान जिस दिन धरत हूँ, रच देना मंगलाचार है ||

सेवक गणेशपुरी महंत जी की, लाज तुम्हारे हाथ है |
करना खता सब माफ़ उनकी, देना हरदम साथ है||

दरबार में आयो अभी, सरकार में हाजिर खड़ा |
इंसाफ मेरा अब करो, चरणों में आकर गिर पड़ा ||

अर्जी बमूजिब दे चुका, अब गौर इस पर कीजिये |
तत्काल इस पर हुक्म लिख दो, फैसला कर दीजिये ||

महाराज की यह स्तुति, कोई नियम रूप से गाया करे |
सब सिद्ध कारज होये, उनके रोग पीड़ा सब हरे ||

भक्त सेवक आपके, उनको नहीं विसराइये |
जय जय मनायें आपकी, बेड़े को पार लगाइये ||