राधा और कृष्ण कृष्ण राधा को समुंद्र मंथन की कथा सुना रहे हैं वह बोल रहे हैं कि समुद्र मंथन जो हुआ था तब क्या-क्या सामग्री उसके अंदर से उत्पन्न हुई थी समुंदर मंथन क्यों किया गया उसकी भी एक विशेष कहानी है जब राक्षसों और देवों में बहुत ज्यादा अत्याचार हो गया था तब समुंद्र मंथन की घोषणा की गई थी
क्योंकि समुद्र मंथन के अंदर एक अमृत छुपा हुआ था जिसको निकालना बहुत ही जरूरी था और यह सेट नारायण के द्वारा और शिव जी के द्वारा ही उत्पन्न हो सकता था शिवजी के गले के अंदर शेषनाग था उसकी मदद ली गई और समुंद्र मंथन किया गया जो समुद्र मंथन किया गया था तब शिवजी के गले का जो सांप था उनको जो कथा कछुआ उसके ऊपर एक बहुत बड़ी चट्टान रखी गई थी ताकि वह स्थान पानी में डूब ना जाए और एक तरफ से उसको बांधा गया था और जो थी जो उसकी थी उसको देता हूं ने पकड़ा समुद्र मंथन किया गया उसमें से निकले माता लक्ष्मी उत्पन्न हुई जिनका विवाह विष्णु जी से हुआ और फिर उसमें से जहर निकला जहर का वह प्याला जो शिवजी भगवान जी ने सीकर पूरे विश्व की रक्षा की जब उसमें से अमृत निकला तब राक्षस और देवताओं में भयंकर युद्ध छिड़ गया और उसको पीने के लिए दोनों में युद्ध होने लगा तब श्रीकृष्ण ने धारण करके रख ले लिया और बोला
क्योंकि समुद्र मंथन के अंदर एक अमृत छुपा हुआ था जिसको निकालना बहुत ही जरूरी था और यह सेट नारायण के द्वारा और शिव जी के द्वारा ही उत्पन्न हो सकता था शिवजी के गले के अंदर शेषनाग था उसकी मदद ली गई और समुंद्र मंथन किया गया जो समुद्र मंथन किया गया था तब शिवजी के गले का जो सांप था उनको जो कथा कछुआ उसके ऊपर एक बहुत बड़ी चट्टान रखी गई थी ताकि वह स्थान पानी में डूब ना जाए और एक तरफ से उसको बांधा गया था और जो थी जो उसकी थी उसको देता हूं ने पकड़ा समुद्र मंथन किया गया उसमें से निकले माता लक्ष्मी उत्पन्न हुई जिनका विवाह विष्णु जी से हुआ और फिर उसमें से जहर निकला जहर का वह प्याला जो शिवजी भगवान जी ने सीकर पूरे विश्व की रक्षा की जब उसमें से अमृत निकला तब राक्षस और देवताओं में भयंकर युद्ध छिड़ गया और उसको पीने के लिए दोनों में युद्ध होने लगा तब श्रीकृष्ण ने धारण करके रख ले लिया और बोला